Covid-19 Virus: कोरोना वायरस का कहर साल 2019 से चीन में शुरू हुआ था, जिसके बाद धीरे-धीरे यह पूरी दुनिया में फैल गया. कोविड महामारी ने करोड़ों लोगों को मौत के घाट उतार दिया, जबकि अरबों लोग इंफेक्शन का शिकार हो गए. कई देशों में कोविड अब तक कहर ढा रहा है, लेकिन वैज्ञानिक यह पता नहीं लगा पाए हैं कि यह वायरस कहां से आया था. तमाम एक्सपर्ट्स ने दावा किया था कि कोरोना वायरस चीन की वुहान लैब से फैला था, लेकिन इसे लेकर विवाद चलता रहा. अमेरिका समेत कई देशों ने चीन पर वायरस फैलाने के आरोप लगाए थे, जबकि चीन इससे इनकार करता रहा.
अब एक नई स्टडी में कोरोना वायरस को लेकर वैज्ञानिकों ने बड़ा खुलासा किया है. इस रिसर्च में दावा किया गया है कि साल 2019 के अंत में चीन के वुहान मार्केट से ही कोरोना वायरस से फैला था. इस स्टडी में वैज्ञानिकों ने चीन के वुहान के हुआनान सीफूड मार्केट से 800 से अधिक सैंपल इकट्ठा किए थे, जहां जंगली जानवर बिकने की आशंका थी. ये सैंपल जनवरी 2020 में बाजार बंद होने के बाद सीधे जानवरों या लोगों से नहीं, बल्कि जंगली जानवरों को बेचने वाले स्टॉल और नालियों की सतहों से लिए गए थे. इसके आधार पर शोधकर्ताओं ने कहा है कि कोरोना वायरस यहीं से फैला था.
“सेल” जर्नल में प्रकाशित इस स्टडी की को-ऑथर फ्लोरेंस डेबेर ने AFP को बताया कि वे निश्चित रूप से यह नहीं कह सकती हैं कि बाजार में मौजूद जानवर संक्रमित थे या नहीं. हालांकि फ्रांस के CNRS रिसर्च एजेंसी की बायोलॉजिस्ट ने कहा कि हमारा अध्ययन पुष्टि करता है कि 2019 के अंत में इस बाजार में जंगली जानवर थे. इनमें रैकून कुत्ते और सिवेट्स जैसी प्रजातियों वाले जानवर थे. ये जानवर बाजार के दक्षिण-पश्चिम कोने में थे, जो उसी क्षेत्र में है जहां SARS-CoV-2 वायरस का पता लगाया गया था. यही कोविड-19 का कारण है.
रिसर्च करने वाले एक्सपर्ट्स का दावा है कि ये जानवर इंसानों की तरह वायरस पकड़ सकते हैं. इसकी वजह से ये इंसानों और चमगादड़ों के बीच एक इंटरमीडिएट होस्ट के रूप में संदेह के घेरे में हैं, जिनसे SARS-CoV-2 की उत्पत्ति होने की आशंका है. हुआनान मार्केट में इन जानवरों की उपस्थिति पहले विवादित रही थी, हालांकि कुछ फोटोग्राफिक सबूत और 2021 का एक अध्ययन मौजूद था. अध्ययन के अनुसार कोविड वायरस के लिए एक स्टॉल के कई हिस्से टेस्ट में वायरस से पॉजिटिव मिले, जिसमें जानवरों की गाड़ियां, एक पिंजरा, एक कचरा गाड़ी और एक बाल/पंख हटाने की मशीन शामिल थी.
शोधकर्ताओं ने कहा कि इन सैंपल्स में इंसानी डीएनए की तुलना में स्तनधारी जंगली प्रजातियों का अधिक डीएनए पाया गया. कोविड-पॉजिटिव सैंपल्स में स्तनधारी डीएनए पाया गया, जिसमें पाम सिवेट, बंबू रैट और रैकून कुत्ते शामिल थे. ये डेटा यह दर्शाते हैं कि या तो स्टॉल में उपस्थित जानवरों ने SARS-CoV-2 को फैला दिया था या कोविड-19 से शुरुआत में संक्रमित होने वाले लोगों की वजह से वहां वायरस पहुंचा होगा. रिसर्च यह भी पुष्टि करती है कि बाजार के नमूनों में पाए गए कोविड वायरस के स्ट्रेन जेनेटिकली वैसा ही था, जैसा कोविड का ऑरिजिनल स्ट्रेन था.
इसका मतलब है कि वायरस की शुरुआत बाजार में हुई थी. कैम्ब्रिज यूनिवर्सिटी के इंंफेक्टियस डिजीज एपिडेमोलॉजिस्ट जेम्स वुडका कहना है कि इस रिसर्च में हुआनान सीफूड मार्केट में जंगली जानवरों के स्टॉल के लिए कोविड-19 महामारी के उभरने के लिए बहुत मजबूत सबूत मिले हैं. यह रिसर्च जरूरी थी, क्योंकि जीवित जंगली जानवरों के व्यापार को सीमित करने के लिए बहुत कम या कुछ भी नहीं किया गया है. जैव विविधता के नुकसान या भूमि उपयोग में बदलाव वास्तव में पिछले और भविष्य की महामारी की उत्पत्ति के संभावित कारण हैं.
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FIRST PUBLISHED : September 20, 2024, 10:29 IST