पेशाब के किस रंग छिपे होते हैं किस बीमारी के संकेत, इस चार्ट में चल जाएगा पता, जान लेंगे तो फायदे में रहेंगे

Urine Color Chart: अगर कोई व्यक्ति हेल्दी है और कुछ उलट-पुलट नहीं खाया तो आमतौर पर उसके पेशाब का रंग हल्का पीला रहता है. हालांकि हेल्दी होने के बावजूद पेशाब का रंग इस बात पर निर्भर करता है कि आप पानी सही से पीते है या नहीं. अगर पानी सही से पीते हैं और कुछ दवा और कुछ अलग तरह का खाना नहीं खाया है तो यह डार्कर यैलो या हल्का नारंगी होता है. इसके बावजूद पेशाब का रंग बदलना मामूली चीज नहीं है. अगर पेशाब का रंग बदलें और फिर दो-तीन दिनों तक सही न हो, तो इसे हल्के में नहीं लेना चाहिए क्योंकि पेशाब के बदले हुए रंग में कई बीमारियों के संकेत छिपे होते हैं.

पेशाब के रंग और बीमारियां

1. रेड या पिंक-अगर किसी के पेशाब का रंग लाल या पिंक हो जाए तो उसे चिंता जरूर होती है क्योंकि लोगों को लगता है कि पेशाब में खून आ रहा है. लेकिन यदि आपने टीबी की दवा खाई है या चुकंदर, ब्लैकबेरी खाया है तो इससे भी पेशाब का रंग लाल या पिंक हो सकता है. लेकिन अगर ऐसा नहीं है और पेशाब का रंग लाल या पिंक है तो इसे गंभीरता से लेनी चाहिए. मायो क्लीनिक के मुताबिक बढ़ा हुआ प्रोस्टेट, कुछ ट्यूमर, किडनी में स्टोन या सिस्ट की स्थिति में भी पेशाब का रंग लाल या पिंक हो सकता है.

2. धुंधला या मलीन रंग-अगर पेशाब का रंग आसमानी बादल की तरह धुंधला या मलीन है और आपने कोई दवा नहीं खाई तो इसका मतलब है कि किडनी में कोई परेशानी है. किडनी में स्टोन और यूटीआई की दिक्कत होने पर पेशाब का रंग मर्की और क्लॉडी हो सकता है.

urine color

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3. नारंगी कलर-फेंजोपायराडिन, कॉन्स्टिपेशन की दवा, स्वेलिंग कम करने की दवा से भी पेशाब का रंग नारंग हो सकता है. विटामिन की दवा लेने से भी पेशाब का रंग ऑरेंज हो जाता है. लेकिन अगर लिवर और बाइल डक्ट की दिक्कत है तो इससे पेशाब का रंग ऑरेंज कलर का हो जाएगा.

4. नीला या हरा रंग-राजमा, किडनी बींस जैसी चीजों को अगर डाई कर दिया जाता है इसके खाने से भी पेशाब का रंग नीला हो सकता है. इसके बाद डिप्रेशन, एसिड रिफलेक्स या अर्थराइटिस की दवाइयों से भी कलर ब्लू और ग्रीन हो सकता है. लेकिन अगर शरीर में कैल्शियम की मात्रा ज्यादा है या पेशाब में कोई बैक्टीरियल इंफेक्शन है तो भी इसका रंग नली या हरा हो सकता है.

5. मटमैला होना- अगर पेशाब का कलर मटमैला या भूरा हो रहा है, ठीक वैसी जैसी चीनी की चाशनी होती है तो यह डायबिटीज का संकेत हो सकता है. डायबिटीज मरीजों के पेशाब का रंग भूरा-मटमैला होता है.

6. डार्क ब्राउन या कोला कलर-फावा बींस खाने पर पेशाब का रंग डार्क ब्राउन हो सकता है. इसके साथ मलेरिया की दवा, एंटीबायोटिक्स या कॉन्स्टिपेशन की दवा खाने पर भी पेशाब का रंग डार्क ब्राउन हो सकता है. लेकिन लिवर, किडनी और यूटीआई की दिक्कत होने पर भी पेशाब का रंग डार्क ब्राउन हो सकता है.

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Tags: Health, Health tips, Lifestyle

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